गुडग़ांवI फिल्म जगत में कई बड़े सदाबहार कलाकार हुए हैं जिन्होंने अपने अभिनय का डंका न केवल देश में बजाया, बल्कि विश्व के देशों में भी उन्होंने भारतीय सिनेमा का लोहा मनवाने में कोई कोर-कसर बाकी नहीं रखी थी। वर्ष 60-70 के दशकों में फिल्म अभिनेता राजेंद्र कुमार छाए रहे। उन्होंने फिल्म जगत को कई फिल्में भी दी और इन फिल्मों ने सिल्वर जुबली भी मनाई। इसलिए राजेंद्र कुमार को जुबली कुमार भी कहा जाता है। उनकी जयंती पर उन्हें याद करते हुए गुडग़ांव के फिल्म अभिनेता राज चौहाने काह कि उनका जन्म 20 जुलाई 1927 को सियालकोट शहर जोकि अब पाकिस्तान में है वहां हुआ था।
उन्होंने ट्रेजेडी किंग दलीप कुमार और नरगिस व अपने समकालीन ख्याति प्राप्त अभिनेताओं के साथ भी फिल्मों में काम किया था। मदर इंडिया फिल्म से उन्हें काफी ख्याति प्राप्त हुई थी। गूंज उठी शहनाई फिल्म की सफलता के बाद उन्होंने कभी पीछे मुडक़र नहीं देखा। राज चौहान ने कहा कि जुबली कुमार की सफल फिल्मों में मेरे महबूब, संगम, आरज़ू, प्यार का सागर, धूल का फूल, दिल एक मंदिर, गहरा दाग़, सूरज और तलाश आदि शामिल हैं। उनको सर्वश्रेष्ठ अभिनेता का फिल्मफेयर का पुरुस्कार भी दिया गया था। उनको सदैव उनकी सिल्वर जुबली फिल्मों के लिए याद किया जाता रहेगा। राज चौहान ने फिल्मी जगत में संघर्ष कर रहे युवक-युवतियों से आग्रह किया है कि वे जुबली कुमार के आदर्शों पर चलकर अपना भविष्य बनाएं, हिम्मत न हारें। फिल्मी दुनिया में हर किसी ने संघर्ष किया है, तभी वे अपने सही मुकाम पर पहुंच सके हैं।
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