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प्रतिबंधों में दी जा रही ढील का लोग उठाने में जुटे हैं नाजायज फायदा

गुडग़ांव, कोरोना महामारी ने पिछले डेढ वर्ष से पूरे
विश्व को परेशान कर रखा हुआ है। असंख्य लोगों की कोरेाना से दर्दनाक मौंत
भी हो चुकी है। भारत भी इससे अछूता नहीं रहा है। कोरोना की दूसरी लहर
पहली लहर से अधिक भयावह साबित हुई थी। हालांकि अब दूसरी लहर का प्रभाव
धीरे-धीरे कम होता जा रहा है। इसको देखते हुए केंद्र व प्रदेश सरकारों ने
काफी रियायतें भी देशवासियों को दे दी हैं, लेकिन प्रदेश सरकारों ने
प्रतिबंधों में जो ढील दी है, लोग इसका नाजायज फायदा उठाने में भी जुटे
हैं। कोरोना से बचाव के लिए जारी दिशा-निर्देशों का पालन करना वे भूल ही
गए हैं। फेस मास्क भी वे इसलिए लगाते हैं कि कहीं चालान न कट जाए।
सामाजिक दूरी को तो उन्होंने तिलांजलि ही दे दी है। हालांकि केंद्र सरकार
ने गत जनवरी माह से देशवासियों को कोरोना महामारी से बचाने के लिए
कोरोनारोधी टीकाकरण अभियान शुरु किया हुआ है। कोरोना महामारी की तीसरी
लहर की प्रबल सभावनाएं भी व्यक्त की जा रही हैं। डेल्टा प्लस वेरियंट वन
नए खतरे के रुप में देश के विभिन्न प्रदेशों में सामने आता दिखाई दे रहा
है। जानकारों का कहना है कि कोरोना महामारी की तीसरी लहर का सामना करने
के लिए जहां प्रदेश सरकारों को अपने अस्पतालों में महामारी से निपटने के
लिए पुख्ता व्यवस्था करनी होगी, वहीं टीकाकरण अभियान को भी मजबूती देने
के साथ-साथ सतर्कता बरतनी भी जरुरी होगी। डेल्टा प्लस 0वेरियट वन एक नए
खतरे के रुप में देखा जा रहा है। जानकारों का यह भी कहना है कि इस
वेरियंट के बारे में अधिक जानकारी नहीं है, फिर भी केंद्र सरकार ने इससे
चिंतित करने वाला वेरियंट माना है। उनका कहना है कि डेल्टा की तुलना में
इसके 60 प्रतिशत तेजी से फैलने की बात भी सामने आ रही है। चिकित्सकीय
क्षेत्र के जानकारों का कहना है कि यह फेफड़ों की कोशिकाओं में मजबूत
पकड़ बनाते हुए फेफड़े को ज्यादा हानि पहुंचा सकता है और इसमें एंटी
बॉडीज को धोखा देने की भी क्षमता है। उनका मानना है कि अभी तक देश के
विभिन्न प्रदेशों में इस वेरियंट के दर्जनों मामले सामने आ चुके हैं।
हरियाणा का फरीदाबाद जिला भी इससे अछूता नहीं रहा है। इसके कारण कुछ
पीडि़तों की मौंत भी हुई बताई जा रही है। हरियाणा प्रदेश में अभी इस
वेरियंट के कम ही मरीज देखने को मिल रहे हैं। महाराष्ट्र, राजस्थान, यूपी
आदि प्रदेशों की सरकारों ने इस वेरियंट से बचाव के लिए व्यवस्था भी करनी
शुरु की हुई है। केंद्र सरकार ने भी इन प्रदेशों के मुखियाओं से आग्रह
किया है कि वे इस संबंध में तुरंत कार्यवाही करें और टेस्टिंग व टीकाकरण
का दायरा बढ़ाने का भी कार्य करें। इसके साथ-साथ फेस मास्क और सामाजिक
दूरी का भी पालन कराएं। टीकाकरण को प्रोत्साहित करने के साथ-साथ अन्य
कदमों का पालन भी कराना होगा। तभी कोरोना की इस संभावित तीसरी लहर से
निपटा जा सकता है, अन्यथा कोरोना महामारी की दूसरी लहर के समान हालात
बनते देर नहीं लगेगी।

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