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एनसीआर चैंबर ने केंद्र व प्रदेश सरकार से की मांग एमएसएमई सैक्टर को बचाने के लिए की जाए स्पेशल पैकेज की घोषणा

गुडग़ांव, वैश्विक कोरोना की रोकथाम के लिए पूरे देश में
लॉकडाउन की घोषणा की हुई है, ताकि लोग कोरोना वायरस के संक्रमण से बच
सकें और घरों में ही रहकर इस महामारी का सामना किया जा सके। इस वैश्विक
विपत्ति के कारण देश में कार्यरत एमएसएमई कंपनियां बेहद बुरे दौर से गुजर
रही हैं। उद्यमियों का प्रतिनिधित्व करने वाली एनसीआर चैंबर ऑफ कॉमर्स
एंड इंडस्ट्री के अध्यक्ष एचपी यादव का कहना है कि एमएसएमई कंपनियां अपने
अस्तित्व को बचाने के लिए संघर्ष कर रही हैं। इन कंपनियों को जीवित रखने
के लिए सरकार को उनके लिए तत्काल स्पेशल पैकेज की घोषणा करनी चाहिए,
अन्यथा सर्वाधिक रोजगार देने वाला यह क्षेत्र पूरी तरह से मंदी की कगार
पर पहुंच जाएगा, जिसका खामियाजा देश व आम लोगों को बड़े पैमाने पर भुगतना
पड़ सकता है। उन्होंने केंद्र व प्रदेश सरकार से इस मामले में तत्काल कदम
उठाने की मांग की है। उनका कहना है कि इस विषम परिस्थति से उबरने के लिए
विश्व के कई बड़े और विकसित देशों ने एमएसएमई इंडस्ट्रिज को जीवित रखने
के लिए स्पेशल पैकेज की घोषणा की है। इसी प्रकार केंद्र व प्रदेश सरकार
को भी ऐसी घोषणा करनी चाहिए, ताकि इन कंपनियों का अस्तित्व बना रहे और
बेरोजगारी की समस्या उत्पन्न न हो। उन्होंने सरकार से यह मांग भी की है
कि एमएसएमई सैक्टर के उद्योगों के ऋण पर 6 माह का ब्याज माफ किया जाए और
अगले 6 माह के लिए इनसे लिए जाने वाले विभिन्न करों की वसूली पर भी रोक
लगाई जाए। अन्य सुविधाएं उपलब्ध कराने की मांग भी एचपी यादव ने सरकार से
की है। उनका कहना है कि यदि इन कंपनियों को बचाने का प्रयास नहीं किया
गया तो अधिकतर कंपनियां बंद हो जाएंगी और देश में बेरोजगारी की समस्या और
अधिक बढ़ जाएगी। कर्मियों का वेतन भुगतान न होने के कारण वे पलायन शुरु
कर देंगे, जिससे मैनपॉवर की भारी कमी हो जाएगी और इसका सीधा असर उत्पादन
पर पड़ेगा

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